"मेरी बात बहुत से ब्लॉगरों को बुरी लग सकती है"
Friday, March 12, 2021
आज मैं ऐसे विषय पर कलम चलाने जा रहा हूँ जो बहुत से ब्लॉगरों को बुरी लग सकती है।
मित्रों!
चर्चा मंच पर सन् 2009 से अनवरतरूप से आपके द्वारा लिखी गई ब्लॉग की अद्यतन प्रविष्टियों की प्रतिदिन चर्चा की जाती है। किन्तु अफसोस तो तब होता है कि जब बहुत सारे वो ब्लॉगर भी चर्चामंच पर झाँकने तक नहीं आते हैं जिनके ब्लॉग की रचनाओं का लिंक चर्चा मंच पर दिया जाता है।
लेकिन इसका यह अर्थ कदापि नहीं है कि लोग चर्चा मंच पर नहीं आते हैं।
कहने का तात्पर्य यह है कि बहुत सारे सुधि पाठक प्रतिदिन चर्चामंच पर आते हैं और अपनी सकारात्मक टिप्पणियाँ भी देते हैं। जिससे हम चर्चाकारों को बहुत बल मिलता है। इन्हीं साहित्यकारों के स्नेह के कारण आज चर्चा मंच ब्लॉगों की प्रथम पायदान पर है और अपने 4005 अंक पूरे कर चुका है।
हम सभी चर्चाकारों का सदैव यह प्रयास रहता है कि नियमिन लिखनेवालों के साथ-साथ कुछ ऐसे ब्लॉगों का भी लिंक दिया जाये जो कि टिप्पणियों के लिए तरसते रहते हैं।
यहाँ मैं यह भी बेबाकी के साथ लिखना चाहता हूँ कि आज हिन्दी ब्लॉगों की जो दयनीय दशा हुई है उसमें कहीं न कहीं हम कुछ ऐसे ब्लॉगर भी जिम्मेदार है जो अपने ब्लॉग पर मार्डेशन लगाये हुए हैं। जिसके कारण टिप्पणीदाता की टिप्पणी तुरन्त नजर न आने कारण टिप्पणीदाता का उत्साह ठण्डा पड़ जाता है। इसके साथ ही बहुत सारे ब्लॉगर फेसबुक पर अधिक सक्रिय हो गये हैं अतः ब्लॉग की बहुत सारी क्षति उनके द्वारा ही हुई प्रतीत होती है। आशा है कि ब्लॉगर बन्धुू और बहनें मेरी उपरोक्त बातों पर अवश्य गौर करेंगे।
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